
नई दिल्ली, 12 सितंबर।
चाय भारतीय घरों की रोजमर्रा की आदतों का अहम हिस्सा है। अधिकतर लोग दिन की शुरुआत चाय से करते हैं और थकान या सिर दर्द होने पर भी इसे राहत के लिए पीते हैं। लेकिन विशेषज्ञों का कहना है कि जरूरत से ज्यादा चाय पीना सेहत और खासतौर से हार्मोनल बैलेंस पर नकारात्मक असर डाल सकता है।
क्लिनिकल न्यूट्रिशनिस्ट नेहल जोशी के अनुसार, चाय में मौजूद कैफीन शरीर में कोर्टिसोल हार्मोन का स्तर बढ़ा देता है, जिससे तनाव और घबराहट महसूस हो सकती है। वहीं, यह एड्रेनालिन और डोपामिन हार्मोन को भी प्रभावित करता है। शुरुआत में इससे ऊर्जा और फोकस बढ़ता है, लेकिन ज्यादा सेवन करने पर थकान और एनर्जी क्रैश की समस्या हो सकती है।
इसके अलावा, कैफीन का अधिक सेवन मेलाटोनिन हार्मोन के उत्पादन को कम करता है, जिससे नींद की गुणवत्ता खराब होती है। रात में कैफीन युक्त चाय लेने से अनिद्रा की समस्या बढ़ सकती है। विशेषज्ञ हर्बल टी जैसे कैमोमाइल या लैवेंडर चाय लेने की सलाह देते हैं।
साथ ही, स्ट्रॉन्ग ब्लैक टी या ज्यादा कैफीन वाली चाय थायरॉइड हार्मोन पर भी नकारात्मक असर डाल सकती है और दवाइयों के प्रभाव को कम कर सकती है।
विशेषज्ञों का सुझाव है कि चाय का सेवन सीमित मात्रा में करें और दवा लेने के तुरंत बाद चाय पीने से बचें।