हेमा मालिनी का संघर्ष : कैसे बनीं ‘ड्रीम गर्ल’..

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मुंबई। बॉलीवुड की दिग्गज अभिनेत्री और ‘ड्रीम गर्ल’ कही जाने वाली हेमा मालिनी ने अपने करियर के शुरुआती दिनों का एक बड़ा किस्सा साझा किया। उन्होंने बताया कि किस तरह उन्हें एक तमिल फिल्म से सिर्फ इसलिए रिजेक्ट कर दिया गया क्योंकि उनकी कद-काठी पतली थी और उस दौर की नायिकाओं की तुलना में उन्हें उपयुक्त नहीं माना गया।

फारूक शेख द्वारा होस्ट किए गए टॉक शो ‘जीना इसी का नाम है’ में हेमा मालिनी ने खुलकर अपनी आपबीती सुनाई। उन्होंने कहा, “मुझे एक तमिल फिल्म का ऑफर मिला था और मैंने उत्साह से काम शुरू कर दिया। लेकिन कुछ ही दिनों में मुझे फिल्म से बाहर कर दिया गया। वजह ये बताई गई कि मैं बहुत पतली हूं और दक्षिण भारतीय दर्शकों को उस समय स्वस्थ कद-काठी की हीरोइनें पसंद थीं।”

हेमा मालिनी ने बताया कि उस समय यह अनुभव उनके लिए किसी असफलता से कम नहीं था और उन्होंने खुद को लेकर काफी निराशा महसूस की। लेकिन इसी रिजेक्शन ने उन्हें मजबूत बनाया और उन्होंने नृत्य और अनुशासन को अपना सहारा बनाकर आगे बढ़ना तय किया।

शो के दौरान उनके परिवार और दोस्तों ने भी हेमा मालिनी की अनुशासित जीवनशैली और कला के प्रति समर्पण पर प्रकाश डाला। वहीं जीतेंद्र और धर्मेंद्र जैसे सितारों ने भावुक संदेश भेजते हुए उनके सफर को याद किया।

आज बॉलीवुड में ‘ड्रीम गर्ल’ के नाम से मशहूर हेमा मालिनी की यह संघर्ष यात्रा इस बात का उदाहरण है कि कठिनाइयाँ और असफलताएँ ही इंसान को मजबूत बनाती हैं और सफलता की नई राह दिखाती हैं।

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